अमेरिका में बने भारतीय - अमेरिकी अल्पसंख्यकों के संगठन ने पीएम मोदी को वैश्विक शांति पुरस्कार देने का किया ऐलान
अमेरिका में भारतीय-अमेरिकियों ने एकजुट होकर एक नया अल्पसंख्यक संगठन लॉन्च किया है। यहां मैरीलैंड के स्लिग सेवेंथ डे एडवेंटिस्ट चर्च में कार्यक्रम के दौरान शुक्रवार को एसोसिएशन ऑफ इंडियन-अमेरिकन माइनॉरिटीज का उद्घाटन हुआ।
संगठन के इस उद्घाटन कार्यक्रम के दौरान ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को डॉक्टर 'मार्टिन लूथर किंग जूनियर ग्लोबल पीस अवॉर्ड फॉर माइनॉरिटी अपलिफ्टमेंट' से सम्मानित किया गया। इस पुरस्कार को वॉशिंगटन एडवेंटिस्ट यूनिवर्सिटी और एआईएएम की तरफ से पीएम मोदी को उनके समावेशी विकास और अल्पसंख्यक कल्याण को लेकर की गई कोशिशों के लिए दिया गया।
इसके अलावा इसके सात सदस्यीय निदेशक बोर्ड में बलजिंदर सिंह, सुखपाल धनोआ (सिख), पवन बेजवादा, एलिशा पुलिवर्ती (ईसाई), दीपक ठक्कर (हिंदू), जुनैद काजी (मुस्लिम) और निसिम रुबेन (यहूदी) शामिल हैं। एआईएएम के गठन का एक बड़ा लक्ष्यों अमेरिका में भारतीय-अमेरिकियों की एकता सुनिश्चित करना भी है। एआईएएम ने सिख दानकर्ता जसदीप सिंह को संस्थापक और अध्यक्ष के तौर पर नियुक्ति किया है।
इस संगठन का उद्देश्य भारतीय-अमेरिकी प्रवासियों में अल्पसंख्यकों को साथ लाना और उनके बेहतर हालात के लिए काम करना है।
एआईएएम अध्यक्ष ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के 2047 तक विकसित भारत बनाने के लक्ष्य में संगठन की भूमिका पर जोर दिया। उन्होंने सभा को संबोधित करते हुए कहा कि पीएम मोदी के नेतृत्व में भारत ने एक समावेशी नजरिया अपनाया है, जिसमें सभी नागरिकों के लिए बराबर के मौके हैं।
वहीं भारतीय अल्पसंख्यक फेडरेशन के संयोजक सतनाम सिंह संधू ने पीएम मोदी के नेतृत्व में भारत के बदलावों पर बात की। उन्होंने पीएम के सबका साथ, सबका विकास नजरिए की तारीफ की और कहा कि इससे मान-मनौव्वल की राजनीति का अंत हुआ है और सांप्रदायिक सौहार्द और बराबर के मौके का माहौल बना है।

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