भ्रष्टाचार में पूरी तरह से डूबी है पालमपुर नगर निगम : राजेश राणु - Smachar

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भ्रष्टाचार में पूरी तरह से डूबी है पालमपुर नगर निगम : राजेश राणु

 भ्रष्टाचार में पूरी तरह से डूबी है पालमपुर नगर निगम  : राजेश राणु।




( पालमपुर : केवल कृष्ण )

हिमाचल प्रदेश के विकास के इतिहास में पालमपुर नगर निगम का निर्णय किसी भी साहसिक और ऐतिहासिक कदम से कम नहीं था, इस बात की सबको हैरानगी है कि मात्र 3000 जनसंख्या की नगर परिषद को सीधा 40000 जनसंख्या के रूप में बिस्तार देकर नगर निगम का गठन करना यह एक मजबूत नेतृत्व की पहचान थी। पालमपुर का नगर अपने आप में एक ऐतिहासिक स्थान है, जिस भूमि को सौंदर्य की दृष्टि से ही नहीं बल्कि वीर भूमि के रूप में भी विशेष रूप से जाना जाता है। इसलिए इस शहर को योजना पूर्वक विकसित करने के लिए नगर निगम की आवश्यकता महसूस हुई थी और नगर निगम पालमपुर से विकास के रूप में एक बहुत बड़ी उम्मीद थी पर वहीं नगर निगम अपने रास्ते से भटककर भ्रष्टाचार का एक अड्डा बन गया। 

लेकिन जिस तरह से कांग्रेस पार्टी ने अपने नगर निगम के चुनाव अवसर पर अपने मेनिफेस्टो में जो बड़े-बड़े लुभाने वायदे किए थे, जिनको जनता की सेवा करने के रूप में चुनकर पार्षद बनने का अफसर दिया था वह पार्षद स्वयं ठेकेदार बन गए और जिसके फल स्वरुप जो एक समुचित वार्डों के विकास की तस्वीर निकलनी चाहिए वह उल्टा और समस्या का मकड जाल बन गया।

जिला महामंत्री ने कहा कि और दुर्भाग्य यह रहा की कुछ अधिकारियों को छोड़कर बाकी सभी अधिकारी भ्रष्टाचारियों की टोली के साथ सुर में सुर मिलाकर पूरी तरह मदहोश हो गए। नतीजा यह हुआ कि नगर निगम के 4 वर्ष की आयु में एक भी कागज या डीपीआर जिसमें पालमपुर को विकसित करने और आधुनिक रूप से मूलभूत सुविधा जोड़ने के लिए केंद्र सरकार को भेजने में सफल नहीं हुई।  

 उन्होंन नगर निगम की कार्यशैली पर चिंता जाहिर करते हुए कहा कि अगर सरकारी पैसे की बर्बादी कैसे की जा सकती है इसका सबसे बड़ा उदाहरण पालमपुर नगर निगम है। आप सबको विदित है कि लगभग 200 करोड़  रुपए की पालमपुर निगम के क्षेत्र में सीवरेज की परियोजना स्वीकृत हुई है, निगम को यह चाहिए था कि पहले वह सीवरेज के कार्य को पूरा करते उसके बाद रास्तों में टाइलें विछाने का काम शुरू करती लेकिन यहां उल्टा हो रहा है पहले टाइलें बिछाई जा रही हैं फिर निश्चित तौर पर कुछ ही समय में सीवरेज के लिए दोबारा उन टाइलों को उखाड़ा जाएगा। और फिर अपने चहेतों को टाइलें बिछाने का टेंडर दे दिया जाएगा कमाई डबल हो जाएगी। लेकिन क्या सरकार लोगों से इकट्ठे किए गए टैक्स की बर्बादी को लेकर नगर निगम की जवाब देही निश्चित करेगी।  

भाजपा नेता राजेश राणु ने कहा कि शायद ही हिमाचल प्रदेश के किसी सरकारी विभाग में ऐसी टेंडर प्रक्रिया होगी जैसी पालमपुर नगर निगम में गोरख धंधे के रूप में चल रही है। टेंडर प्रक्रिया में कोई पारदर्शिता नहीं है राजनीतिक कृपा पूर्वक अधिकारी चहेतों को टेंडर प्रक्रिया के सारे नियम और कानून को तोड़कर  टेंडर बांट रहे हैं

उन्होंने कहा कि अभी हाल में ही पालमपुर से संबंधित ठेकेदारों की एक बैठक हुई है और उसमें स्पष्ट रूप से नगर निगम के अधिकारियों को यह चेताया गया है कि अगर अभी आने वाले समय में निगम के अधिकारियों ने टेंडर प्रक्रिया का पालन नहीं किया तो उनको बहुत बड़ी मुसीबत से जूझने के लिए तैयार रहना पड़ेगा।  

खुशी की बात यह है कि पिछले कल ही हिमाचल के गरीब लोगों को पीएम आवास योजना के तहत 92364 घरों की मंजूरी मिली है। पर नगर निगम के पार्षदों और अधिकारियों को बताना चाहता हूं कि वह यह न सोचें कि आप जो कर रहे हैं वह किसी को पता नहीं चल रहा है। यहां पहले जो पीएम आवास योजना से घर मंजूर हुए हैं उसके पैसे की भी निगम अपने चहेते लाभार्थियों में बंदर बांट कर रहा है, सिर्फ उन्हीं को दूसरी किस्त के पैसे दिए जा रहे हैं जो इनके वोटर और सपोर्टर हैं, बाकियों को प्रताड़ित किया जा रहा है, और आगे भी हमें इसे कोई उम्मीद नहीं है कि निष्पक्ष रूप से गरीबों के लिए घरों का आवंटन करेंगे। यहां भी बिल्कुल वैसा ही होगा जैसे गरीब आदमी ताड-फाड वाले का खोखा तो उजाड़ दिया पर पालमपुर में कई धनाडय सीटों की अवैध 8-10 मंजिला इमारतें अवैध है उन्हें एक नोटिस तक भेजने की हिम्मत इनको नहीं पड़ी।

लोग सोचते हैं कि माननीय मुख्यमंत्री सुक्खू जी नहीं झूठी ग्रंटियां देने की शुरुआत की थी पर मैं उनको बताना चाहता हूं की नगर निगम पालमपुर इसे पहले ही इसकी शुरुआत कर चुका है। यह जो मेरे हाथ में रसीद है यह पालमपुर नगर निगम द्वारा कचरा उठाने के टैक्स की है और दिसंबर 2024 तक एडवांस में ही जनता से पैसे ले लिए। चुनाव के समय जिला चला कर कहते थे कि हम नगर निगम में घरों से कचरा उठाने का कोई पैसे नहीं लेंगे बल्कि 10 साल तक किसी भी प्रकार का कोई टैक्स नहीं लेंगे पर मैं उनसे पूछना चाहता हूं कि ऐसी क्या मारो मेरी पड़ गई की एडवांस में टैक्स लेना पड़ रहा है ।

 राणु ने कहा कि अगर पालमपुर नगर निगम बिजनरी होती तो पालमपुर में बिजली की तारों का मकड़ जाल नहीं होता, ट्रैफिक संकट से निजात मिलती, आवश्यकता अनुसार फ्लावर बनते, भव्य पार्किंग का निर्माण होता है, हर बार में सुंदर-सुंदर पार्क बनते आधुनिक रोपवे और छोटी-छोटी इलेक्ट्रिक बस से नगर निगम में लोगों की सेवा में लगी होती ‌। पर दुर्भाग्यवश ऐसे लोगों के हाथों में नगर निगम आ गई जिनके पास कोई विजन नहीं है।

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