गदर 2' के मेकर्स ने फिल्म को अच्छी ओपनिंग दिलवाने के लिए सबसे बड़ी तैयारी कर ली - Smachar

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गदर 2' के मेकर्स ने फिल्म को अच्छी ओपनिंग दिलवाने के लिए सबसे बड़ी तैयारी कर ली

 गदर 2' के मेकर्स ने फिल्म को अच्छी ओपनिंग दिलवाने के लिए सबसे बड़ी तैयारी कर ली


Gadar 2 के मेकर्स ने फिल्म के लिए मजबूत प्लानिंग कर ली है. फिल्म को अच्छी ओपनिंग मिलनी तकरीबन तय है. मगर Sunny Deol और Ameesha Patel स्टारर इस फिल्म के मेकर्स इसे और बेहतर करना चाहते हैं. इसीलिए वो फिल्म की एक टिकट खरीदने पर दूसरी टिकट फ्री दे रहे हैं. हालांकि इसमें एक पेच है. इस ऑफर का फायदा उठाने के लिए आपको Paytm से टिकट बुक करनी पड़ेगी. हालांकि ये पहला मौका नहीं है, जब ऐसी कोई स्कीम लाई गई है. इससे पहले Zara Hatke Zara Bachke के मेकर्स ने भी यही पैंतरा आज़माया था.

गदर 2' के मेकर्स ने पेटिएम के साथ टाइ-अप किया है. हालांकि ये साफ नहीं हो पाया है कि एक टिकट पर दूसरी टिकट फ्री वाली स्कीम सिर्फ पहले दिन के लिए है या पूरे वीकेंड के लिए. स्कीम तो पब्लिक के लिए फायदेमंद है. मगर मेकर्स को ये चीज़ सिर्फ दिखावटी तौर पर फायदा देगी है. असलियत में नहीं.

देखिए जब 'गदर 2' की कमाई दिखाई जाएगी, तो वो टोटल टिकटों की बिक्री के आधार पर तय होगी. यानी इस फिल्म के इतने टिकट बिके, जिससे इतनी कमाई हुई. उस समय ये नहीं बताया जाएगा कि जितने टिकट बिके, उसमें से आधे फ्री में दिए गए थे. यानी मेकर्स आपको जो कमाई बताएंगे, उनकी कमाई उससे आधी या उससे थोड़ी ज़्यादा होगी.

जो टिकट फ्री में दिए जा रहे हैं, वो कहां से आ रहे हैं? मतलब वो फ्री में कौन बांट रहा है? थिएटर्स, पेटिएम या फिल्म के मेकर्स? कोई थिएटर्स फ्री में टिकट नहीं बांटेगा. क्योंकि ये उनका बिज़नेस है. अगर वो एक पर एक टिकट फ्री बांटने लगे, तो उनका बंटाधार हो जाएगा. जैसे 'आदिपुरुष' की रिलीज़ के वक्त ये ऐलान किया गया था कि हर सिनेमाघर में एक सीट भगवान हनुमान के लिए खाली छोड़ी जाएगी. मगर उसके बगल वाली सीट की टिकट महंगी होगी. मसलन अगर एक सीट के लिए 250 रुपए के लिए टिकट बिके, तो भगवान हनुमान के लिए खाली छोड़ी गई सीट के बगल वाली सीट के लिए 500 रुपए की टिकट रखी गई थी. यानी थिएटर्स ने उस खाली सीट के पैसे बगल वाली सीट से वसूल लिए. ऐसे में वो किसी फिल्म के फ्री टिकट तो नहीं बांटने वाले है.  


पेटिएम भी किसी को टिकट फ्री में नहीं देगा. क्योंकि इसमें उनका इतना ज़्यादा फायदा नहीं होगा. इसका मतलब साफ है कि फ्री वाला टिकट मेकर्स बांट रहे हैं. जितने टिकट एक के साथ एक फ्री बांटे जाएंगे, उसकी कीमत मेकर्स को चुकानी पड़ेगी. ऐसी स्कीम 'ज़रा हटके ज़रा बचके' के मेकर्स भी लेकर आए थे. पता चला कि इन टिकटों के 5-6 करोड़ रुपए प्रोडक्शन हाउस को अपनी जेब से भरने पड़े. यानी प्रोड्यूसर ने खुद फिल्म बनाई और उसके टिकट भी खुद ही खरीद लिए. पूरा मामला समझने के लिए ये वीडियो देख सकते हैं

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