प्राकृतिक आपदा से प्रभावित बिजली, पानी और सड़क जैसी मूलभूत सुविधाओं को बहाल करने के लिए युद्ध स्तर पर किया जा रहा कार्य: उपायुक्त - Smachar

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प्राकृतिक आपदा से प्रभावित बिजली, पानी और सड़क जैसी मूलभूत सुविधाओं को बहाल करने के लिए युद्ध स्तर पर किया जा रहा कार्य: उपायुक्त

 प्राकृतिक आपदा से प्रभावित बिजली, पानी और सड़क जैसी मूलभूत सुविधाओं को बहाल करने के लिए युद्ध स्तर पर किया जा रहा कार्य: उपायुक्त


करसोग

उपायुक्त अपूर्व देवगन ने प्राकृतिक आपदा प्रभावित करसोग के विभिन्न क्षेत्रों का दौरा कर राहत एवं पुनर्वास कार्यों की समीक्षा की। इस दौरान उपायुक्त उन परिवारों से भी मिले, जिन्होंने इस आपदा में अपने परिजनों को हमेशा के लिए खो दिया है। उन्होंने प्रभावितों को ढाढस बंधाया और विश्वास दिलाया कि आपदा की इस घड़ी में राज्य सरकार और प्रशासन पूरी तरह से प्रभावितों के साथ खड़ा है और उनकी हरसंभव मदद की जा रही है। 

उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री ठाकुर सुखविंद्र सिंह सुक्खू स्वयं निरंतर राहत कार्यों की समीक्षा कर रहे हैं और करसोग क्षेत्र की स्थिति का भी समय-समय पर फीडबैक ले रहे हैं। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार की ओर से ऐसे प्रभावित परिवार, जिनके घर पूरी तरह से क्षतिग्रस्त हो चुके हैं, उन्हें किराए के मकान में रहने के लिए प्रतिमाह 5 हजार रुपये देने का प्रावधान किया गया है।

उन्होंने लोक निर्माण, जल शक्ति और विद्युत विभाग को आपदा के कारण प्रभावित हुई सड़कों को शीघ्र बहाल करने, पेयजल योजनाओं और विद्युत व्यवस्था की बहाली के लिए युद्ध स्तर पर कार्य करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि आपदा प्रभावितों को फौरी राहत के तौर पर करसोग में लगभग 4 लाख रुपये से अधिक की राशि प्रदान की जा चुकी है और एसडीएम करसोग की देखरेख में राहत कार्य निरंतर जारी हैं।

उन्होंने कहा कि आपदा के दृष्टिगत किसी भी स्थिति से निपटने के लिए स्वास्थ्य विभाग को उपचार संबंधी अतिरिक्त आवश्यक दवाईयां उपलब्ध करवाई गई है। उन्होंने कहा कि बीएमओ करसोग को विभिन्न प्रकार की आवश्यक दवाईयों की और सप्लाई भेजी जा रही है। उन्होंने लोगों से आग्रह किया कि आपदा की इस स्थिति में पानी को उबाल कर ही पीयें ताकि किसी भी प्रकार के जलजनित रोग से बचा जा सके।

उन्होंने कहा कि आपदा में लापता व्यक्ति को ढूंढने के निरंतर प्रयास किए जा रहे हैं। सर्च अभियान में ड्रोन की भी मदद ली जा रही है। ड्रोन के माध्यम से सतलुज नदी में विभिन्न स्थानों पर, निहरी के पास और कोल डैम में भी नजर रखी जा रही है। उन्होंने कहा कि आपदा प्रभावित क्षेत्रों में खतरा बने नालों के चैनलाईजेशन का कार्य मनरेगा के अन्तर्गत किया जाएगा। उन्होंने खंड विकास कार्यालय को इस संबंध में डीपीआर तैयार कर शीघ्र भेजने के भी निर्देश दिए। 

इस अवसर पर उपायुक्त ने विभिन्न विभागों के अधिकारियों के साथ बैठक कर आपदा प्रभावित क्षेत्र में किए जा रहे राहत कार्यों की भी समीक्षा की।

इस मौके पर एसडीएम गौरव महाजन, तहसीलदार डॉ. वरूण गुलाटी सहित विभिन्न विभागों के वरिष्ठ अधिकारी व कर्मचारी उपस्थित थे।

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