जगत सिंह नेगी विरोध की परंपरा के जनक, जनता पर मुकदमे दर्ज कर कांग्रेस ने दिखाया असली चेहरा: गोविंद सिंह ठाकुर - Smachar

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जगत सिंह नेगी विरोध की परंपरा के जनक, जनता पर मुकदमे दर्ज कर कांग्रेस ने दिखाया असली चेहरा: गोविंद सिंह ठाकुर

 जगत सिंह नेगी विरोध की परंपरा के जनक, जनता पर मुकदमे दर्ज कर कांग्रेस ने दिखाया असली चेहरा: गोविंद सिंह ठाकुर


मनाली : ओम बौद्ध /

भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश उपाध्यक्ष एवं पूर्व मंत्री श्री गोविंद सिंह ठाकुर ने आरोप लगाया है कि मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू और उनके मंत्री जगत सिंह नेगी आपदा पीड़ितों की उपेक्षा और जनता के बढ़ते आक्रोश से घबराकर बौखलाहट में उलटे-सीधे बयानबाजी कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि मंडी जिला के सराज में ना तो प्रदेश सरकार ने अब तक आपदा प्रभावितों को कोई ठोस राहत दी है, और ना ही उनके पुनर्वास की कोई समुचित योजना लाई गई है।उन्होंने कहा कि सिराज विधानसभा क्षेत्र में आपदा आने के एक महीने बाद जब राजस्व मंत्री जगत सिंह नेगी सराज दौरे में पहुंचे, तो स्थानीय लोगों ने उनसे बागवानी कॉलेज को लेकर सवाल पूछे। इस पर मंत्री का जवाब था — "यह मामला आपका नहीं, कैबिनेट का है।" यह बयान साफ दर्शाता है कि कांग्रेस सरकार जनता की पीड़ा के प्रति पूरी तरह संवेदनहीन है।

पूर्व मंत्री गोविंद सिंह ठाकुर ने कहा कि प्रदेश सरकार की यह कार्यशैली लोकतंत्र की मर्यादाओं का खुला अपमान है। जनता को राहत देने की बजाय, कांग्रेस सरकार ने लोकतांत्रिक विरोध को कुचलने का प्रयास किया और सिराज क्षेत्र के 65 से अधिक नागरिकों पर मुकदमे दर्ज कर दिए। कांग्रेस को यह स्मरण रखना चाहिए कि जब यही जगत सिंह नेगी विपक्ष में थे, तब उन्होंने विरोध की सारी सीमाएं पार कर दी थीं। वर्ष 2010-11 में जब प्रो. प्रेम कुमार धूमल मुख्यमंत्री थे, उस समय किन्नौर में कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने जगत सिंह नेगी के नेतृत्व में काले झंडे दिखाकर प्रदर्शन किया था। यही नहीं, भाजपा सरकार के दौरान आयोजित जनमंच कार्यक्रम को भी उन्होंने बाधित किया। उस समय की शहरी विकास मंत्री सरवीन चौधरी जब जनसमस्याएं सुनने आई थीं, तब उनका खुलेआम अपमान किया गया और मंच को अव्यवस्थित करने का प्रयास किया गया। वन निगम के उपाध्यक्ष सूरत नेगी पर हमला करने का प्रयास भी उसी दौरान हुआ था, जो मामला आज भी न्यायालय में लंबित है।

गोविंद सिंह ठाकुर ने आरोप लगाते हुए कहा कि विवादास्पद और राष्ट्रविरोधी बयानों की सूची भी जगत सिंह नेगी के नाम पर कम नहीं है। उन्होंने विधानसभा में अनुच्छेद 370 पर चर्चा के दौरान कहा बयान आपत्तिजनक था कि भाजपा सभी सदस्यों के विरोध के चलते इसे विधानसभा की कार्यवाही से हटाना पड़ा था। इतना ही नहीं, अप्रैल 2025 में उन्होंने जनजातीय क्षेत्रों की भूमि नीति पर बोलते हुए कहा कि अगर नोतोड़ भूमि नहीं दी गई तो चीन लद्दाख और अरुणाचल की तरह किन्नौर और लाहौल-स्पीति पर अतिक्रमण करेगा। यह बयान न केवल भड़काऊ है बल्कि भारत की अखंडता पर संदेह उत्पन्न करने वाला है, जिसकी मैं कठोर निंदा करता हूं।

गोविंद सिंह ठाकुर ने कहा कि जगत सिंह नेगी का राजनीतिक इतिहास द्वेष, विवाद और लोकतंत्र का अपमान करने वाला रहा है, और अब जब जनता कांग्रेस सरकार से जवाब मांग रही है, तो उसी जनता पर मुकदमे दर्ज कर दिए गए हैं, यह शर्मनाक है।

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