गुवाड़ पंचायत के पेटी गांव में मूलभूत सुविधाओं का अभाव, भाजपा पोल-खोल अभियान में ग्रामीणों का फूटा रोष - Smachar

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गुवाड़ पंचायत के पेटी गांव में मूलभूत सुविधाओं का अभाव, भाजपा पोल-खोल अभियान में ग्रामीणों का फूटा रोष

 गुवाड़ पंचायत के पेटी गांव में मूलभूत सुविधाओं का अभाव, भाजपा पोल-खोल अभियान में ग्रामीणों का फूटा रोष


विकास खंड मैहला की ग्राम पंचायत गुवाड़ के पेटी गांव में ग्रामीण मूलभूत समस्याओं से वंचित है। यहां बिजली ,सड़क व सिंचाई सुविधा का लाभ लोगों को नहीं मिल रहा है। जिसके कारण लोगों का सरकार के खिलाफ काफी रोष है। भाजपा के द्वारा पोल- खोल अभियान के दौरान गांव में रविवार को कार्यक्रम का आयोजन किया गया।कार्यक्रम के दौरान भाजपा प्रदेश कार्यसमिति सदस्य जय सिंह ने लोगों की समस्याओं को सुना। इस मौके पर लोगों ने समस्याओं को बताते हुए कहा कि पंचायत में साहो से सागला तक एच.आर.टी.सी.बस बीते काफी समय से बंद है। जिसके कारण लोगों को टैक्सी का महंगा किराया चुकाना पड़ रहा है। इस बारे में कई बार लोग सरकार व प्रशासन से मांग कर चुके हैं, लेकिन कोई कार्रवाई नहीं की गई है। बस नहीं भेजने के कारण साहो स्कूल व नौकरी- पेशे से केजुड़े लोगों को परेशानी का सामना करना पड़ता है। कभी बसोें की कमी तो कभी नए- नए बहाने बनाए जा रहे हैं। विद्यार्थी देर शाम तक पैदल घर पहुंचते हैं जिससे उनकी पढ़ाई प्रभावित हो रही है। इसके अलावा पंचायत में सिंचाई सुविधा भी नहीं है। यहां स्कूल में इकलौते शिक्षक के सहारे पढ़ाई व्यवस्था की जा रही है। प्राथमिक पाठशाला में करीब 40 विद्यार्थी पढ़ाई कर रहे हैं। विद्यार्थी स्कूल तो आते हैं लेकिन शिक्षकों की कमी के कारण बिना पढ़ाई किए ही वापस जाने को मजबूर है। बीते लंबे समय से एस.एम.सी. सदस्यों एवं अविभावकों ने स्कूल में रिक्त पदों को भरने के लिए कई प्रकार शिक्षा विभाग समेत सरकार के नुमाइंदों से बात की लेकिन शिक्षकों की कमी को पूरा नहीं किया जा सका। अविभावकों में प्रकाश चंद , सुरेंद्र कुमार, राधा, रेखा, मीनू, कमल, जितेंद्र, पवन का कहना है कि स्टाफ की कमी के कारण शिक्षकों की संख्या लगातार कम हो रही है। शिक्षकों की तैनाती न होने के कारण कई अभिभावकों ने बच्चों को दूसरे स्कूलों में दाखिल करवाया है। उन्होंने कहा कि वैसे तो सरकार ने शिक्षा के स्तर को ऊंचा उठाने के लिए कई प्रयास किए हैं लेकिन उनके स्कूल में अभी भी स्टाफ की कमी है। कई बार शिक्षक को जरूरी कार्य पड़ जाए तो स्कूल में पढ़ाई व अन्य व्यवस्था चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों के सहारे आ जाती है। शिक्षकों की कमी के कारण अविभावक अपने बच्चों को दूसरे स्कूल में दाखिल करवा रहे हैं। वहीं यहां प्री प्राइमरी की सुविधा भी नहीं है। इसके अलावा कोई प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र भी नहीं है। कार्यक्रम के दौरान जय सिंह ने बताया कि इस बारे में सोमवार 29 दिसम्बर को लोग डी.सी. चम्बा मुकेश रेप्सवाल से मिलकर लोगों की समस्याओं को रखेंगे। इस मौके पर हेम राज उपप्रधान वार्ड पंच प्रकाश,मोती राम, उत्तम, अमन, नानकू, विजय, पूर्व प्रधान साहबनू समेत अन्य मौजूद रहे।

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